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कोरोना महामारी के लिए ये साल ज्यादा घातक: WHO

जिनेवा. विश्व स्वास्थ्य संगठन ने आगाह किया है कि कोरोना वायरस की महामारी पिछले साल के मुकाबले इस साल और ज्यादा घातक साबित होगी.

डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक टेड्रोस एदानोम गेब्रेसस ने कहा कि हम कोरोना वायरस की इस महामारी को पिछले साल के मुकाबले इस बार ज्यादा जानलेवा होता हुआ देख रहे हैं.

डब्ल्यूएचओ ने बताया है कि दुनिया भर में अब तक 33 लाख 46 हजार से ज्यादा लोग कोरोना के कारण जान गंवा चुके हैं. उधर ओलंपिक के आयोजन को रद्द करने की मांग के बीच जापान ने देश में आपातकाल की अवधि बढ़ा दी है.

भारत में महज 14 दिन में कोरोना से 50 हजार मौतें हुईं, 46 दिनों में एक लाख से ज्यादा मरीजों ने दम तोड़ा

डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक ने कहा कि महामारी से मौतों की तादाद काफी तेजी से बढ़ी है. जापान ने ओलंपिक के आयोजन के महज 10 हफ्तों पहले तीन और इलाकों में इमरजेंसी घोषित कर दी है.

जबकि 3 लाख 50 हजार से ज्यादा हस्ताक्षरों वाले एक कंपेन में आयोजन को रद्द करने की मांग की गई है.टोक्यो और आसपास का इलाका तो मई के अंत तक आपातकाल के आदेश के तहत था, अब हिरोशिमा, ओकायामा, उत्तरी होक्काईदो को भी इसके दायरे में लाया गया है, जहां ओलंपिक मैराथन ( Olympic Marathon)  का आयोजन होना है.

गौरतलब है कि कोरोना की चौथी लहर के कारण जापान का मेडिकल तंत्र भी बेहद दबाव में है. जनता इस साल वहां ओलंपिक खेलों के आयोजन के खिलाफ आवाज उठा रही है.

टोक्यो के गवर्नर पद के उम्मीदवार रह चुके केंजी सुनोमीया ने कहा कि हमें जिंदगी बचाने को प्राथमिकता देनी चाहिए, न कि समारोह को. उन्होंने शहर के प्रशासकों को साढ़े तीन लाख से ज्यादा हस्ताक्षर वाली याचिका सौंपी है.

ताइवान के लिए भी बुरी खबर है, ताइवान की राजधानी में सभी मनोरंजन स्थल अनिश्चितकाल काल के लिए बंद कर दिए गए हैं. लाइब्रेरी और खेलकूद के केंद्र भी बंद हैं.

यहां पायलटों में कोरोना का संक्रमण मिला है, जिसके बाद सरकार चौकन्ना हो गई है. ताइवान में अभी तक कोरोना के महज 1290 मामले सामने आए हैं और सिर्फ 12 मौतें हुई हैं.

राजधानी ताइपेई में शनिवार से बार, डांस क्लब, कराओके लाउंज, नाइट क्लब, इंटरनेट कैफे समेत सभी प्रकार के मनोरंजन स्थलों पर ताले लग जाएंगे.

उधर भारत में कोरोना के रोजाना 3.5 से 4 लाख केस सामने आ रहे हैं, जबकि रोजाना मौतों का आंकड़ा भी चार हजार के करीब है.

भारत ने वैक्सीन की किल्लत को देखते हुए रूस की स्पूतनिक वी (Sputnik V)  वैक्सीन से भी टीकाकरण की शुरुआत कर दी है.

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